शब्द का अर्थ
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					चीमड़					 :
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					वि० [हिं० चमड़ा] १. (वस्तु) जो चमड़े की तरह कड़ी हो तथा लचीली न हो। २. (व्यक्ति) जो जल्दी किसी बात या व्यक्ति का पीछा न छोड़ता हो। किसी बात या व्यक्ति के पीछे पड़ा रहनेवाला। ३. (व्यक्ति) जिससे जल्दी पैसा वसूल न किया जा सकता हो।				 | 
			 
			
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				समानार्थी शब्द- 
				उपलब्ध नहीं				 | 
				
			 
			
				 
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